नमस्कार स्टूडेंट आज के इस आर्टिकल में बिहार बोर्ड कक्षा 12वीं के हिंदी विषय कि अगस्त 2024 मासिक परीक्षा में पूछा जाने वाला एक महत्वपूर्ण प्रश्न”जिस पुरुष में नारीत्व नहीं, अपूर्ण है आशय स्पष्ट करें”(Jis purush mein naritav nahi apurn hai ashay spasht Karen) का जवाब दिया गया हैं।
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जिस पुरुष में नारीत्व नहीं, अपूर्ण है आशय स्पष्ट करें । Jis purush mein naritav nahi apurn hai ashay spasht Karen
प्रश्न: जिस पुरुष में नारीत्व नहीं, अपूर्ण है आशय स्पष्ट करें । Jis purush mein naritav nahi apurn hai ashay spasht Karen
उत्तर: **जिस पुरुष में नारीत्व नहीं, वह अपूर्ण है**
इस पंक्ति का सीधा अर्थ यह है कि पुरुष में नारी के गुणों का समावेश होना आवश्यक है, अन्यथा वह अधूरा है। समाज में पुरानी मान्यताओं के अनुसार पुरुषत्व को कठोरता, आत्मनिर्भरता और शक्ति का प्रतीक माना जाता है, जबकि नारीत्व को कोमलता, सहनशीलता और ममता का रूप माना जाता है। लेकिन समाज में किसी भी व्यक्ति की संपूर्णता तभी मानी जाती है जब उसमें दोनों लक्षणों का संतुलन हो।
आज के युग में, समाज में नर और नारी की भूमिका को अलग-अलग नहीं बल्कि एक-दूसरे के पूरक के रूप में देखा जाना चाहिए। इसलिए, किसी भी पुरुष को केवल बाहरी शक्ति और कठोरता तक सीमित नहीं रहना चाहिए, बल्कि उसमें कोमलता, संवेदनशीलता और ममता जैसे गुणों का भी विकास होना चाहिए।
इस प्रकार, नारीत्व की समझ और उसके गुणों का समावेश किसी भी पुरुष के व्यक्तित्व को पूर्णता प्रदान करता है, और इसे नकारने पर उसकी संपूर्णता अधूरी मानी जा सकती है।
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आज के पेपर में पूछे गए प्रश्न
लघु उत्तरीय प्रश्न
Q. कबहुँक अंब अवसर पाई।’ यहाँ ‘अंब’ संबोधन किसके लिए है
Q. सूर के काव्य की किन विशेषताओं का उल्लेख कवि नाभदास ने किया है
Q. कृष्ण खाते समय क्या-क्या करते हैं सूरदास के द्वितीय पद के अनुसार लिंखे
Q. मालती के पति और पुत्र का क्या नाम था
दीर्घ उत्तरीय प्रश्न
Q. भ्रष्टाचार का जड़ क्या है क्या जेपी से आप सहमत है इसे दूर करने के लिए आप क्या सुझाव देंगे
Q. जिस पुरुष में नारीत्व नहीं, अपूर्ण है आशय स्पष्ट करें
Q. पठित कवित के आधार पर छत्रसाल का वर्णन करें